रियाद: योग को अंतराष्ट्रीय मंत्र पर पहचान दिलाने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 21 जून को योग दिवस मनाने का फैसला किया था। लेकिन इसके बाद भी देश में योग को लेकर विवाद होते रहे तथा इसे धर्म से जोड़कर देखा जाने लगा।
भारत में योग को आज भी धार्मिक चश्मे से देखा जाता है लेकिन कट्टर इस्लामी देश सऊदी अरब दिनों बड़े बदलावों से गुजर रहा है। यहां योग को सांप्रदायिकता के तौर पर नहीं बल्कि एक खेल के रूप में देखा जाता है। इसीलिए सऊदी अरब सरकार ने अब इसे एक खेल का दर्जा दे दिया है।
सऊदी अरब ने घोषणा की है कि अब योग को खेल गतिविधियों में शामिल कर लिया गया है। इस कदम का पूरा श्रेय नौउफ मारवाई को जाता है। सऊदी अरब के व्यापार एवं उद्योग मंत्रालय के मुताबिक योग करने इ‘छुक लोगों को संबंधित मंत्रालय से लाइसेंस प्राप्त करना होगा। नउफ मारवी देश की पहली प्रमाणित योग शिक्षक बनी हैं। नउफ का मानना है कि योग शिक्षा का किसी व्यक्ति के धर्म से कोई लेना-देना नहीं है।